राजस्थान की प्रमुख लोकदेवियाँ
Major folk deities of Rajasthan
अजमेर ( AJMER )
- हिचकी माता – सरवाड़
- सावत्री माता (पुष्कर, अजमेर ) ब्रह्मा जी की पत्नी
जयपुर (JAIPUR)
- छीक माता – जयपुर
- शीतला माता – चाकसू (जयपुर )
नोट – देवी की खंडित रूप मे पुजा की जाती है
देवी का वाहन गधा है
कुम्हार समाज पुजारी होते है
- नगटी माता – जयपुर
- महामाई माता- रेनवाल (जयपुर)
- ज्वाला माता – जोबनेर (जयपुर) खंगारातो की कुल देवी
- शीला माता :- आमेर (जयपुर) उपनाम – अन्नपूर्णा देवी इसकी मूर्ति केदारनाथ(बंगाल के शासक से छीन के लाई गई ) इस मंदिर का निर्माण मानसिंह प्रथम दुवरा किया गया
जालौर (JALORE)
- क्षेमकारी माता- भीनमाल (जालौर)
- सुंन्धा माता -सुन्धा पर्वत (जालौर)
- सुभद्रा माता -भाद्राजूण (जालौर)
उदयपुर (UDAIPUR)
- अम्बिका माता – जगत (उदयपुर)
- बिखडी माता – उदयपुर
- आमजा माता – केलवाडा (उदयपुर)
- उन्टाला माता – वल्लभ नगर (उदयपुर)
- धूणी माता -डबोक (उदयपुर)
- आमजा माता – केलवाडा (उदयपुर)
- बाण माता – उदयपुर ( सिसोदिया वंश की कुल देवी)
- जमुवाय माता-जमवारामगढ़ (जयपुर) कच्छवाह वंश की कुल देवी।
बांसवाडा (BAASWADA)
- त्रिपुरा सुन्दरी माता /तरतई माता/त्रिपुरा महालक्षमी -तलवाडा (बांसवाडा) त्रिपुरा सुन्दरी पांचाल जाति की कुल देवी है।
- छीछ माता – बांसवाड़ा
राजसमंद (RAJSAMAND )
- घेवर माता – राजसमंद
- चार भुजा देवी – खमनौर (राजसमंद)
जोधपुर (JODHPUR )
- पीपाड़ माता- ओशिया (जोधपुर)
- सच्चिया माता (ओसिया ,जोधपुर ) ओसवाल समाज की कुल देवी
- आई माता -बिलाड़ा (जोधपुर ) नोट :- सिरवी समाज की कुलदेवी
- सेणी माता – जोधपुर
- टियाल भवानी -जोधपुर-कल्ला समाज की कुल देवी। इन्हे खेजड़अेरी राय भवानी भी कहते है।
- हींगलाज माता – नारलाई (जोधपुर)
बाड़मेर (BADMER)
- खूबड़ माता – सिवाणा (बाड़मेर)
- सीमलमाता- बसंतगढ़ (बाड़मेर)
- नागणेची माता – नगाणा गांव (बाडमेर)
- विरात्रा माता – बाड़मेर
- राणी भटियाणी – जसौल (बाडमेर
भीलवाडा (BHILWADA)
- कुशाल माता- बदनोर (भीलवाडा)
बारां (BARAN)
- ब्रहमाणी माता (सोरसण , बारां ) नोट :- विश्व की एक मात्र देवी जिसकी पीठ की पुजा होता है
- जोगणिया माता – भीलवाडा
अलवर (ALWAR )
- जिलाडी माता – बहरोड़ (अलवर)
सवाई माधोपुर (SAWAI MADHOPUR )
- चैथ माता – चैथ का बरवाडा (स.धो)
दौसा (DOUSA)
- हर्षत माता – आभानेरी (दौसा)
- बिजासणी माता – लालसौट (दौसा)
चुरू (CHURU)
- मनसा देवी – (चुरू)
चित्तौड़गढ`(CHITTODGADH )
- आवरी माता- निकुम्भ (चित्तौड़गढ) लकवे के रोगियां का उपचारकत्र्ता देवी
- सीता माता- बडी सादडी (चित्तौड़गढ)
- कुण्डालिनी माता- राश्मी (चित्तौड़गढ)
- बडली माता-चित्तौड़गढ़ छीपों का अंकोला (बेडचनदी के किनारे)
कोटा (KOTA)
- भदाणा माता – कोटा
नागौर (NAGOUR )
- भांवल माता – नागौर
- दधिमति माता- गोठ मांगलोद (नागौर)
प्रतापगढ(PRATAPGADH )
- भंवर माता- छोटी सादडी (प्रतापगढ)
हनुमानगढ़(HANUMANGADH )
- भद्रकाली माता – हनुमानगढ़
पाली (PALI)
- मगरमण्डी माता – नीमाज (पाली)
- सुगाली माता- आउवा (पाली)
डूंगरपुर (DUNGARPUR)
- आसपुर माता – आसपुर तह. (डूंगरपुर)
जैसलमेर (JAISALMER )
- खोडिया देवी – जैसलमेर
- आवड माता – जैसलमेर
- तनोटिया माता (तन्नोट , जैसलमेर )नोट:- उपनाम – थार की वेष्णो देवी , सेना के जवानो की देवी
- स्वागिया माता -जैसलमेर नोट:- भाटियों वंश की कुलदेवी
माऊंट आबू ( MAUNT AABU )
- अधर देवी /अर्बुदा देवी – माऊंट आबू
झुनझुनु ( JHUNJHUNU)
- रानी सती माता (झुनझुनु )
नोट:- वास्तविक नाम नारायणी बाई अग्रवाल
इनके परिवार मे 13 सतीया हुई
पिछली परीक्षा मे आए लोकदेवियों के महत्वपूर्ण प्रश्न उत्तर (FAQ)
प्र—— ओसवालों (ओसियां , जोधपुर ) की कुलदेवी मानी जाती है ?
उत्तर—सच्चिया माता
प्र——चौहनों की कुलदेवी है ?
उत्तर—जीण माता (सीकर)
प्र——जोधपुर राजपरिवार ने अपनी कुलदेवी के रूप मे किसे स्वीकार किया ?
उत्तर—नागणेची जी
प्र——कछवाहा शासको की कुलदेवी मानी जाती है ?
उत्तर—अन्नपूर्णा
प्र——जोधपुर राजपरिवार ने अपनी कुलदेवी के रूप मे किसे स्वीकार किया ?
उत्तर—नागणेची जी
प्र——कछवाहा शासको की कुलदेवी मानी जाती है ?
उत्तर—अन्नपूर्णा
प्र—— सिसोदिया नरेशो की कुलदेवी मानी जाती है ?
उत्तर—बाण माता
प्र—— बीकानेर के राठोड वंश की कुलदेवी मानी जाती है ?
उत्तर—करणी माता (देशनोक , बीकानेर )
प्र—— शीतलमाता के पुजारी किस जाति के होते है ?
उत्तर—कुम्हार
प्र—— प्रसिद्ध कैलादेवी का मेला कहाँ आयोजित होता है ?
उत्तर—कैलादेवी (लख्खी मेला ) करौली मे चेत्र शुक्ला अष्टमी तथा नवरात्रो मे लगता है इस अवसर पर यात्री कालिसिन्ध नदी मे स्न्नान आवश्य करते है
प्र—— चेचक की देवी पुजा खंडित प्रतिमा के रुप मे की जाती है ?
उत्तर—शीतलामाता
प्र—— किस देवी की पुजा खंडित प्रतिमा के रूप मे की जाती है ?
उत्तर—शीतला माता
प्र—— किस देवी की पुजा मे अन्य देवियो की भांति बकरों की बलि नहीं दी जाती है ?
उत्तर—कैलादेवी
प्र——राजस्थान मे एक देवी मन्दिर है , जहां चूहे बहुत अधिक संख्या मे निवास करते हैं , का नाम है
उत्तर— करणी माता का मन्दिर
प्र—— किस मन्दिर की थार की वैष्णोदेवी कहा जाता है ?
उत्तर—तन्नोट स्थित सैनिको की देवी के मन्दिर को
प्र—— करौली के यदुवंश की कुलदेवी है ?
उत्तर—कैलादेवी
प्र—— त्रिकुट पर्वत पर स्थित कैलदेवी का संबंध है ?
उत्तर—करौली
प्र—— करणी माता का मेला (देशनोक) भरता है
उत्तर—चैत्र नवरात्र तथा अश्विन नवरात्र को
प्र——मातृरक्षिका देवी , चेचक की देवी के नाम से जानी जाने वाली शीतला माता (सैढल माता ) का मेला कब लगता है ?
उत्तर— शीतलमाता का मेला शील की डूंगरी (चाकसू जयपुर ) पर प्रतिवर्ष चैत्र कृष्ण सप्तमी को लगता है
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